समाज और दानिशवर
ये वाक़िआ है कि सदियों से दानिशवरों और अदीबों को समाज में…
ये वाक़िआ है कि सदियों से दानिशवरों और अदीबों को समाज में…
एक सेकंड में बुझ सकते है तेरह जुगनू जल सकते हैं…
हम शहर की ख़ुफ़िया जेब में गिर जाते हैं इन शहरों…
जब कभी बैठे बिठाए, मुझे आपा याद आती है तो मेरी आँखों…
आपी कहा करती थी, सुनहरे, समय समय की बात होती है। हर…